गाजीपुर में फर्जीवाड़ा प्रकट होने पर शिक्षिका का वेतन रोका गया

फर्जी अंक पत्र लगाकर सहायक अध्यापक (तहतानियां) के पद पर कार्यरत मदरसा 'मदरसतुल मसाकिन' की शिक्षिका निकहत परवीन के वेतन की जांच के बाद रोक दी गई है। अब कानूनी कार्रवाई के लिए प्रक्रिया चल रही है। भाजपा नेता फैजान खान की शिकायत पर उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद ने कानूनी कार्रवाई को समर्थन दिया है।

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संस्तुति प्राप्त होने के बाद, जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी सच्चितानंद तिवारी ने मदरसा 'मदरसतुल मासाकिन' के प्रबंधक को शिक्षिका पर कानूनी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। शिकायतकर्ता ने उच्च अधिकारियों को 22 नवंबर 2022 को शिकायत पत्र देकर आरोप लगाया था कि नगर पंचायत अध्यक्ष निकहत परवीन द्वारा फर्जी दस्तावेज के आधार पर 17 मार्च 2006 से मदरसे में सहायक अध्यापक (तहतानियां) के पद पर नौकरी प्राप्त की है।

कहा जा रहा है कि निकहत परवीन ने 1990 में बिहार विद्यालय परीक्षा समिति, पटना से हाईस्कूल की परीक्षा और 2005 में उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद, उत्तर प्रदेश, प्रयागराज से इंटरमीडिएट की परीक्षा पास की थी। उन्होंने इंटरमीडिएट में पूर्णांक 500 के साक्षेप में 260 अंक प्राप्त किए थे, जिसका प्रतिशत 52 होता है। हालांकि सहायक अध्यापक (तहतानियां) की नियुक्ति में इंटरमीडिएट में 55 प्रतिशत प्राप्त करना आवश्यक है।

इस विषय में, मदरसा 'मदरसतुल मसकीन' के शिक्षा प्रबंधनकर्ता जियाउर रहमान अंसारी ने बताया कि सहायक अध्यापक निखत परवीन का वेतन नवंबर 2022 से रोक दिया गया है। इस कार्रवाई को अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी के आदेश पर आगे की निर्देशिका से समझा जा रहा है, और उच्चधिकारियों के साथ मार्गदर्शन के लिए प्रशासनिक प्रक्रिया शुरू की जाएगी।

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