कोरोना कर्फ्यू से छूट मिलने के बाद जनपद के अस्पतालों में शु्क्रवार से ओपीडी सेवा शुरू की जा रही है। इसमें जिला अस्पताल व जिला महिला अस्पताल सहित सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (पीएचसी) शामिल हैं। इन सभी स्थानों पर कोरोना की गाइडलाइन को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य सेवाएं सामान्य कर दी जाएंगी। शासन का आदेश मिलने के बाद गुरुवार की शाम तक स्वास्थ्य विभाग इसकी तैयारियों में लगा रहा।
कोरोना कर्फ्यू के चलते महीनों से अस्पतालों में ओपीडी सेवा बंद थी। शासन ने वैकल्पिक व्यवस्था के रूप में चुनिदा चिकित्सकों का मोबाइल नंबर जारी किया गया था, जिस पर लोग फोन कर टेलीमेडिसिन के जरिए परामर्श ले रहे थे। हालांकि यह व्यवस्था ज्यादा प्रभावी नहीं हो पाई। इधर कर्फ्यू में छूट मिलने के बाद शासन ने ओपीडी खोलने का निर्देश दिया है। इस दौरान ध्यान रखा जाएगा कि अस्पताल परिसर और ओपीडी में एक साथ अधिक संख्या में भीड़ न जुट पाए। रोगियों की संख्या अधिक नहीं रखी जाएगी और उन्हें पूर्व निर्धारित समय पर ही ओपीडी में बुलाया जाएगा। जिला अस्पताल, सीएचसी और पीएचसी में ओपीडी में आने वाले रोगियों के बैठने की समुचित व्यवस्था की जाएगी। इस दौरान अस्पतालों में मेडिकल इमरजेंसी सेवाएं लगातार जारी रहेंगी। उन्हें किसी भी तरह से रोका नहीं जाएगा। ओपीडी में शारीरिक दूरी के लिए छह फीट की दूरी पर सर्कल बनाए गए हैं। एक साथ सभी मरीजों को ओपीडी में नहीं बुलाया जाएगा।
शासन के आदेश पर अस्पताल में शुक्रवार से ओपीडी सेवा शुरू की जा रही है। इस दौरान रोगियों की भीड़ नहीं होने दी जाएगी। शारीरिक दूरी का पालन करना है और मास्क लगाना अनिवार्य है। अस्पताल में पूरी व्यवस्था कर ली गई है।
पीएचसी व सीएचसी पर बनेंगी फीवर क्लीनिक
अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (एनएचएम) डा. केके वर्मा ने बताया कि सभी स्वास्थ्य केंद्रों में फीवर क्लीनिक स्थापित की जाएगी। जिन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों को कोविड-19 अस्पताल के रूप में चयनित किया गया है, वहां नान कोविड-19 ओपीडी एवं आइपीडी सेवाएं प्रारंभ की जाएंगी। स्वास्थ्य केंद्र को सैनिटाइज कराकर नान कोविड चिकित्सा का कार्य प्रारंभ किया जाएगा।
डा. वर्मा ने बताया कि सभी प्रसव केंद्रों पर गर्भवती महिलाओं के प्रसव का कार्य सुचारु रूप से संचालित किया जाएगा। सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर यथास्थिति सिजेरियन प्रसव कराया जाएगा। सभी जिला चिकित्सालयों में पोस्ट कोविड केयर सेंटर भी चलेगा। इसमें फिजीशियन, फिजियोथेरेपिस्ट एवं मानसिक रोग विशेषज्ञ की टीम काम करेगी। इसके साथ ही विशेष प्रायोजन के लिए बनाए गए अस्पताल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर फीवर कार्नर स्थापित किया जाएगा, जिससे कोविड-19 संभावित व्यक्तियों का परीक्षण यहीं कराया जा सके।