गाजीपुर में, नाबालिग ई-रिक्शा चालक तमाम नियमों की अनदेखी करके दिख रहे हैं, जिससे हमेशा हादसे का खतरा बना रहता है। कई ई-रिक्शा बिना पंजीकरण के चल रहे हैं। इसी समय, गाजीपुर ट्रैफिक पुलिस कर्मी भी नियमों का पालन करने में लापरवाह दिख रहे हैं, खासकर ई-रिक्शा के नाबालिग चालकों पर कार्रवाई नहीं हो रही है। दो पहिया और चार पहिया वाहनों की चेकिंग होती है, लेकिन नाबालिग ई-रिक्शा चालकों पर ध्यान देना आवश्यक है।
लगभग छह वर्ष पहले, ई-रिक्शा सेवा की शुरुआत होने पर लोगों ने यह सोचा कि इससे सहूलियत मिलेगी। नगर में परंपरागत रिक्शा चालकों की सेवा का अंत हो गया था और इसके साथ ही ई-रिक्शा का प्रचलन बढ़ता रहा है। मानव श्रम की बचत के कारण, इस से नगर में ई-रिक्शा का लोकप्रियता बढ़ती रही है।
लोगों को यात्रा करने में सहूलियत होने लगी है और वह अब कम खर्च करके अपने गंतव्य पहुंचने में सक्षम हो रहे हैं। इसके साथ ही, वातावरण को भी प्रदूषित नहीं होने में मदद मिल रही है। ई-रिक्शा सेवा से कई लोगों को रोजगार मिला है, लेकिन कुछ नाबालिग भी ई-रिक्शा चलाने में शामिल हो रहे हैं।
लोग कह रहे हैं कि नाबालिग ई-रिक्शा चलाने के दौरान वे नियम-कानूनों का उल्लंघन करते हैं। सड़क पर चलते समय, उन्हें आमतौर पर ई-रिक्शा को आड़े-तिरछे करके देखा जाता है। कभी-कभी, वे ई-रिक्शा को बीच सड़क में खड़ा करके सवारी बैठाने या उतारने में मदद करते हैं। इसके कारण, अक्सर जाम होता है। यातायात प्रभारी निरीक्षक मनीष त्रिपाठी ने बताया है कि समय-समय पर विशेष अभियान चलाकर कड़ी कार्रवाई की जाती है। 29 जनवरी से, इस प्रकार के चालकों के खिलाफ एक अभियान शुरू किया जाएगा और उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी।