जिले में शासन ने लोगों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने के लिए हर घर नीर योजना के तहत लाखों रुपये खर्च कर पेयजल टंकी का निर्माण कराया। लेकिन निर्माण के चार साल बाद भी लोगों के घरों तक पानी नहीं पहुंच रहा है। जिस कारण लोगों के सामने पेयजल संकट खड़ा हो गया है। मजबूरी में लोग हैंडपंप और कुओं से निकल रहा दूषित पानी पीने को विवश हो रहे हैं।
कई बार शिकायत के बाद भी सुनवाई नहीं
सेवराई के भतौरा गांव में चार साल पूर्व पानी की टंकी का निर्माण कराया गया था। तब लोगों में उम्मीद जगी कि थी उन्हें अब पीने के लिए शुद्ध पानी उपलब्ध हो सकेगा, लेकिन उदासीन अधिकारियों की वजह से आज तक टंकी से जलापूर्ति शुरू नहीं की जा सकी। गांव के मुरली कुशवाहा, राकेश यादव, उपेंद्र यादव, संतोष यादव, मुन्ना राजभर और जमाल खान ने बताया कि संबंधित अधिकारियों से कई बार जलापूर्ति बहाल करने की मांग की गई, लेकिन अभी तक इस योजना का लाभ लोगों को नहीं मिला।
वाटर सप्लाई शुरू ना होने पर आंदोलन की चेतावनी
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि करोड़ों रुपए खर्च कर टंकी तो बना दी गई, लेकिन जलापूर्ति के लिए पाइप लाइन नहीं बिछाई गई। जिस कारण आज तक लोगों को पेयजल की समस्या से निजात नहीं मिल सकी। लोगों ने जल्द जलापूर्ति बहाल कराने की मांग की है। समय रहते जलापूर्ति बहाल नहीं होने पर तहसील मुख्यालय पर धरना-प्रदर्शन की चेतावनी दी। एसडीएम ने बताया कि जल निगम के जेई और संबंधित उच्चाधिकारियों को समस्या से अवगत कराया है। जल्दी जलापूर्ति के लिए सकारात्मक कदम उठाए जाएंगे।