नेपाल के पहाड़ों पर हो रही झमाझम बारिश के चलते राप्ती नदी ने खतरे का निशान पार कर दिया है। राप्ती बैराज पर नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 60 सेंटीमीटर तक ऊपर पहुंच गया। इससे नदी के किनारे बसे गांवों में बाढ़ का खतरा पैदा हो गया है। शाम को राप्ती का जलस्तर स्थिर हो गया।
पड़ोसी राष्ट्र नेपाल के ऊंचाई वाले पहाड़ों पिछले तीन दिनों से लगातार बारिश हो रही है। इससे राप्ती नदी का जलस्तर सोमवार रात से बढ़ने लगा। राप्ती का जलस्तर बुधवार सुबह आठ खतरे का निशान 127.70 को पार करके 128.00 पहुंच गया। इसके बाद करीब 10 सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ते हुए 11 बजे तक 128.30 मीटर पर पहुंच गया। इससे जलस्तर खतरे के निशान को पार करते हुए 60 सेंटीमीटर ऊपर तक पहुंच गया। खतरे का निशान पार करते ही आसपास के इलाकों में पानी भरने लगा। बाढ़ को देखते हुए तटवर्ती गांवों में दहशत फैल गई है। लेकिन अभी तक किसी गांव में पानी घुसने की खबर नहीं मिली है। तेजी से बढ़ रहे पानी को देखते हुए ग्रामीण सुरक्षित स्थानों की तलाश करने लगे।
जिलाधिकारी नेहा प्रकाश ने बताया है कि जलस्तर पर निगरानी रखी जा रही है। सभी बाढ़ चौकी प्रभारियों एवं चौकी पर तैनात अधिकारियों कर्मचारियों को सक्रिय रहने का निर्देश दिया गया है। कन्ट्रोल रूम स्थापित किए गए हैँ। यह कन्ट्रोल रूम अनवरत क्रियाशील रहेगा। बाढ़ संबंधी सूचना इन नंबरों 8429321551 और 7395045570 पर दी जा सकती है।