नए साल का पहला दिन शनिवार इस सप्ताह का सबसे अधिक ठंड वाला दिन रहा रहा। वैसे तो पारा न्यूनतम 9 डिग्री सेल्सिय रहा, लेकिन पछुआ हवा ने खूब ठिठुराया। शाम होते ही सड़कों पर सन्नाटा पसर गया।
गलन के साथ जहां बूढ़े, बच्चों व मरीजों को बचाने की जरूरत महसूस हुई, वहीं किसानों व पशुपालकों को पशुओं को ठंड से बचाने में जद्दोजहद करनी पड़ी। लोगों ने पशुओं को बांधने के स्थान पर दिनभर आग जलाने का इंतजाम कर रखा था वहीं घर से बाहर निकले लोग सड़क पर जल रहे अलाव का सहारा ले रहे थे।
मौसम विभाग के अनुसार मौसम में गलन को लेकर लोगों को चार जनवरी से कुछ राहत मिलेगी। पूरा जनपद रात से ही कोहरे के आगोश में डूबा रहा। दिन भर लोग धूप का इंतजार करते रहे, लेकिन सूर्य देव ने अपना दर्शन नहीं दिया। पूरे दिन आसमान में बादल व कोहरा छाया रहा। चिकित्सक के सलाह को लाएं अमल में जिला चिकित्सालय के डाक्टर केवी शोले ने लोगों को सलाह दी कि टोपी पहनें, पूरे कपड़ों का प्रयोग करें, जरूरत होने पर ही घर से बाहर निकलें, आग के पास हाथ को गरम करें।
आजवाइन का तेल पका कर बच्चों, बूढ़ो व मरीजों के पैर के तलवे में मालिश करें। सर्दी-जुकाम, खासी होने पर एकोनाइट 30, विपर सल्फ-10, आर्शेनिक एलबम-30, बच्चों को यदि कोल्ड डायरिया की स्थिति में कैमोमिला-30, पोरोफाइलम-30, वेरेट्रम एलवम-30 का प्रयोग कर सकते हैं। बेहतर होगा चिकित्सकीय सलाह तुरंत लें।