उच्च शिक्षा संस्थानों द्वारा परीक्षा परिणाम छात्रवृत्ति पोर्टल पर अपलोड न किए जाने से वित्तीय वर्ष 2021-22 में पात्र छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति एवं शुल्क प्रतिपूर्ति योजना से वंचित होना पड़ सकता है। समाज कल्याण निदेशालय ने शुक्रवार तक परीक्षा परिणाम अपलोड करने की समय सीमा तय कर दी है।
निदेशालय ने प्रदेश के केंद्रीय व राज्य विश्वविद्यालयों व स्वायत्तशासी संस्थानों समेत कुल 67 संस्थानों को इस संबंध में पत्र भेजा है। पत्र में कहा गया है कि यदि तीन दिसंबर 2021 तक परीक्षा परिणाम अपलोड नहीं किया जाता है तो संस्थानों के विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति एवं शुल्क प्रतिपूर्ति नहीं मिल पाएगी, जिसके लिए संबंधित विश्वविद्यालय एवं संबद्ध एजेंसी जिम्मेदार होगी। निदेशालय ने कहा है कि सभी विश्वविद्यालयों एवं संबद्ध एजेंसियों को परीक्षा परिणाम घोषित होते ही तत्काल छात्रवृत्ति पोर्टल पर अपलोड करने को कहा गया है लेकिन अभी तक परीक्षा परिणाम अपलोड नहीं किया गया है।
निदेशालय ने जिन 67 संस्थानों की सूची जारी की है, उन्होंने एक भी परीक्षा परिणाम अपलोड नहीं किया है। इसमें बीएचयू, इलाहाबाद यूनिवर्सिटी, इलाहाबाद राज्य विश्वविद्यालय, अटल बिहारी वाजपेयी मेडिकल यूनिवर्सिटी लखनऊ, लखनऊ विश्वविद्यालय, बाबा साहब भीमराव आंबेडकर यूनिवर्सिटी लखनऊ, भातखंडे संगीत सम विश्वविद्यालय लखनऊ, छत्रपति शाहू जी महाराज विश्वविद्यालय कानपुर, डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान लखनऊ, डॉ. शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय लखनऊ, यूपी स्टेट मेडिकल फैकल्टी लखनऊ, यूपी होम्योपैथिक चिकित्सा बोर्ड लखनऊ, वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर, नरेन्द्रदेव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय कुमारगंज अयोध्या, महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ वाराणसी तथा चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय कानपुर जैसे संस्थान भी शामिल हैं।