प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 16 नवंबर को पूर्वांचल एक्सप्रेस वे का लोकार्पण करेंगे। इसके साथ ही जिले के विकास के रास्ते भी खुलेंगे। गाजीपुर जिले के भांवरकोल में बड़े पैमाने पर सब्जियों की खेती होती है जबकि सैदपुर, नंदगंज और जखनिया दुग्ध उत्पादन में आगे है। यहां खोवा का कारोबार बड़े पैमाने पर होता है। अब यहां के दुग्ध और सब्जी उत्पादक अपने उत्पादों को प्रदेश की राजधानी लखनऊ की मंडी तक महज तीन घंटे में पहुंचा सकेंगे।
पूर्वांचल एक्सप्रेस वे से गाजीपुर जिले के लोगों को लखनऊ, बाराबंकी, सुल्तानपुर, अंबेडकरनगर, अमेठी, अयोध्या, आजमगढ़ और मऊ पहुंचने में काफी सुविधा होगी। दूरी कम होने से समय की बचत होगी। पहले सड़क मार्ग से लखनऊ जाने में छह घंटे लगते थे लेकिन अब लोग तीन घंटे में लखनऊ पहुंच सकेंगे। सब्जी उत्पादन में अग्रणी हैदरिया-भांवरकोल के किसान अब सब्जियों को महज तीन घंटे में लखनऊ की मंडी में भेज सकेंगे। इसी प्रकार सैदपुर, नंदगंज, जखनिया में दुग्ध उत्पादन बड़े पैमाने पर होता है। अब एक्सप्रेस-वे से यहां का खोवा, पनीर और दूध बड़ी मंडियों में पहुंचाई जा सकेगी। इसको लेकर जिले के व्यापारी और किसान उत्साहित हैं। इनका कहना है कि भविष्य में जिले में फूड प्रोसेसिंग इकाई विकसित होने के साथ ही कोल्ड स्टोरेज, डेयरी उद्योग, गल्ला मंडी और उद्योग स्थापित होने की संभावनाएं हैं।
वहीं, पूर्वांचल एक्सप्रेस वे बिहार की सीमा से 18 किमी पहले समाप्त हो रहा है। इससे बिहार के बक्सर, आरा, पटना का लखनऊ से सरल और सुविधाजनक रास्ता हो जाएगा। यही नहीं पूर्वांचल के गाजीपुर, मऊ, आजमगढ़, बलिया समेत बिहार के सीमावर्ती जिलों के लोगों को पूर्वांचल एक्सप्रेस वे से लखनऊ के बाद लखनऊ-आगरा एक्सप्रेस वे और यमुना एक्सप्रेस वे से देश की राजधानी नई दिल्ली आवागमन करने में काफी सुविधा होगी। ऐसे में गाजीपुर से नई दिल्ली जाने में सिर्फ आठ घंटे लगेंगे। फिलहाल जहां-जहां लाइट, पौधरोपण और पेंटिंग का कार्य पूरा हो गया है वहां पूर्वांचल एक्सप्रेस वे काफी आकर्षक लग रहा है।
पूरा होने को है कार्य
पूर्वांचल एक्सप्रेस वे के पैकेज आठ का निर्माण कार्य कर रही ओरिएंटल स्ट्रक्चर इंजीनियर्स प्राइवेट लिमिटेड के अधिकारी अजीत सिंह ने बताया कि एक्सप्रेस वे के किनारे लगे साइन बोर्ड, सुरक्षा के लिए लगी लोहे की मोटी-मोटी रेलिंग एवं सामान चोरी होने से कुछ दिक्कतें र्हुइं। जनपद के 48 किलोमीटर भाग पर पूर्वांचल एक्सप्रेस वे का कार्य लगभग पूर्ण होने को है। अंतिम रूप देने में कंपनी दिन-रात लगी हुई है।
एक्सप्रेस वे पर दो स्थानों से शुरू हो सकती है यात्रा
जिले में दो स्थानों से पूर्वांचल एक्सप्रेस वे पर यात्रा शुरू की जा सकती है। पहला एप्रोच मार्ग पूर्वी छोर पर भांवरकोल विकासखंड के हैदरिया और दूसरा एप्रोच मार्ग गाजीपुर-मऊ मार्ग पर मरदह के हैदरगंज में एप्रोच मार्ग बनाया गया है। यहां से एक्सप्रेस वे पर यात्रा शुरू की जा सकती है। भांवरकोल के हैदरिया से ही एक्सप्रेसवे प्रारंभ हुआ है। हालांकि, तीसरा एप्रोच मार्ग कासिमाबाद में प्रस्तावित है जिसका निर्माण दिसंबर में शुरू होने की उम्मीद है। कासिमाबाद में एप्रोच बन जाने से बलिया के पश्चिमी छोर के लोगों के साथ कासिमाबाद और आसपास के लोगों को एक्सप्रेस वे पर सफर करने में सुविधा होगी।
एक टिप्पणी भेजें