शासन कोरोना काल में अनाथ हुई बेटियों की शादी की जिम्मेदारी उठाएगी। इसके लिए प्रमुख सचिव महिला एएं बाल विकास विभाग वी. हेकाली झिमोमी ने इस संबंध जिलाधिकारी को पत्र लिखकर ऐसी बालिकाओं को चिंहित कर पंद्रह दिन के अंदर रिपोर्ट भेजने के लिए निर्देशित किया है। जिसके बाद कोविड-19 प्रभावित अनाथ बालिकाओं के विवाह के लिए आर्थिक सहायता दी जाएगी।
कोरोना वायरस ने बहुत से परिवारों से उनकी खुशियां हमेशा के लिए छीन ली हैं। जिन परिवार में कल तक किलकारियां गूंजा करतीं थीं, बालिकाओं की शादी को लेकर तैयारियां चल रहीं थी, आज उसी घर में लोग गुमसुम नजर आ रहे हैं। ऐसे ही परिवारों के जीवन में फिर से खुशियां लाने की हरसंभव कोशिश में सरकार जुटी है। जिन बालिकाओं ने कोरोना के चलते अपने माता-पिता को खोया है, उनकी चिंता सरकार को है और अब ऐसे परिवार की पहचान कर उन्हें शादी के लिए आर्थिक कदम बढ़ाया गया है।
ऐसे संकटग्रस्त बच्चों के भरण-पोषण, शिक्षा, चिकित्सा आदि की व्यवस्था के लिए आर्थिक सहयोग प्रदान किये जाने के संबंध में प्रदेश में ‘मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना प्रारम्भ की गयी है । इस सम्बन्ध में विस्तृत दिशा-निर्देश गत दो जून को जारी किया गया था। इसमें कोविड-19 संक्रमण से प्रभावित इस श्रेणी की सभी बालिकाओं की शादी के लिए एक लाख एक हजार रुपये की राशि उपलब्ध करायी जायेगी।
इसी प्रकार शासनादेश के आधार पर इसके लिए आवेदन पत्र का प्रारूप व दिशा-निर्देश अलग से निर्गत किये जाएंगे। इसके तहत कोविड-19 संक्रमण से प्रभावित अनाथ, संकटग्रस्त बालिकाओं के विवाह के लिए आर्थिक सहायता व अनुदान देने के लिए बालिकाओं को चिंहित कर सभी दस्तावेजों की जांच की जाएगी। जांच पूर्ण होने के बाद रिपोर्ट विभाग की ओर से शासन को भेजा जाएगा।