पिपरा प्रखंड अंतर्गत रामपुर में बुधवार को यादव महासभा की एक बैठक हुई। जिसमें बिहार सरकार के पूर्व मंत्री स्वर्गीय विनायक प्रसाद यादव के पुत्रवधु सह राजद के प्रदेश महासचिव विजय कुमार यादव की पत्नी किरण बाला की मृत्यु के उपरांत होने वाले मृत्यु भोज पर सर्वसम्मति से रोक लगाने का निर्णय लिया। ज्ञात हो कि किरण बाला की मृत्यु के उपरांत उनके पुत्र विवेक यादव ने उन्हें मुखाग्नि दी थी। जिसके बाद यादव महासभा ने बैठक का आयोजन कर शोकाकुल परिवार से मृत्यु भोज नहीं करने की अपील की गई थी। जहां सर्वसम्मति से मृत्यु भोज नहीं करने का निर्णय लिया गया।
समय-समय पर व्यवस्था में परिवर्तन जरूरी : यादव महासभा के जिलाध्यक्ष डॉ. अमन कुमार ने कहा कि संसार परिवर्तनशील है। समय-समय पर जरूरत के हिसाब से इसमें परिवर्तन होते रहा है। वर्तमान समय मे धार्मिक परंपराओं में भी बदलाव की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि धर्म ग्रंथों में भी मृत्यु भोज का कही उल्लेख नहीं है। यह लोगों द्वारा बनाई गई परंपरा थी। अब समय आ गया है कि इसे खत्म कर दिया जाय। साथ ही उन्होंने केंद्र सरकार से इस संबंध में कानून बनाने की भी मांग की। डॉ अमन ने कहा कि मृत्युभोज कल्याणकारी नहीं बल्कि विनाशकारी है। इसका सबसे बड़ा खामियाजा गरीब परिवारों को ही भुगतना पड़ता है। क्योंकि एक भोज के आयोजन में इतना ज्यादा खर्च होता है जितना उस परिवार की कमाई नहीं होती है।
फिजूल खर्च रोककर जरूरतमंदों की हो मदद
महासभा के जिला संरक्षण डॉ. प्रो गौरी यादव ने इस फिजूल खर्ची को बंद कर इस पैसे का सदुपयोग निर्माण कार्य और जरुरतमंदों की मदद में उपयोग की अपील की। पूर्व विधायक दीनबंधु यादव ने कहा कि जब खिलाने वाला एवं खाने वाला का मन प्रसन्न हो, तभी भोजन करना चाहिए। मौके पर पूर्व प्राचार्य डॉ. रामप्रसाद यादव, मार्गदर्शक प्रो अशोक यादव, राजद प्रदेश महासचिव विजय कुमार यादव, प्रो. सुभाष चन्द्र यादव, प्रो. बैद्यनाथ यादव, बिपिन कुमार सिंह, प्रमोद कुमार, वासुदेव प्रसाद यादव, हरिनंदन यादव, आचार्य फुलेन्द्र यादव, एकता यादव, ऋतु कुमारी आदि उपस्थित थे।